
सोमवार को भारतीय शेयर बाजार में भारी गिरावट के साथ कारोबार की शुरुआत हुई। कमजोर ग्लोबल संकेतों के चलते सेंसेक्स और निफ्टी में जबरदस्त गिरावट दर्ज की गई। बीएसई का 30 शेयरों वाला सेंसेक्स 3,914.75 अंकों की गिरावट के साथ 71,449.94 पर खुला, जबकि निफ्टी में 1,146.05 अंकों यानी करीब 5% की गिरावट आई और यह 22,186.25 पर खुला। इससे पहले गुरुवार के सत्र में सेंसेक्स 75,364.69 और निफ्टी 23,433.25 पर बंद हुआ था।
किन शेयरों में सबसे ज्यादा गिरावट?
सेंसेक्स के प्रमुख शेयरों में टाटा स्टील, टाटा मोटर्स, एलएंडटी, इंफोसिस और टीसीएस सबसे बड़े नुकसान में रहे। टाटा स्टील के शेयरों में करीब 8.44% की गिरावट दर्ज की गई। वहीं, भारती एयरटेल इकलौता स्टॉक रहा जो हरे निशान में ट्रेड कर रहा था, जिसमें शुरुआती कारोबार में 0.64% की तेजी देखी गई।
निफ्टी के 50 शेयरों में से शुरुआती कारोबार में 44 हरे निशान में थे, जबकि 2,131 शेयर लाल निशान में ट्रेड कर रहे थे। 26 शेयरों में कोई बदलाव नहीं हुआ।
इंडिया VIX पहुंचा 31.11 पर
वोलैटिलिटी इंडेक्स ‘इंडिया VIX’ में जोरदार उछाल देखने को मिला है और यह 31.11 के स्तर पर पहुंच गया है। इसका मतलब है कि निवेशक भारी अस्थिरता के लिए तैयार हो रहे हैं, खासकर वैश्विक ट्रेड वॉर की आशंकाओं के बीच।
गिफ्ट निफ्टी का क्या संकेत था?
गिफ्ट निफ्टी, जो बाजार की शुरुआती चाल का संकेत देता है, लाल निशान में 22,063.50 पर खुला, जबकि इसका पिछला क्लोजिंग 22,331 पर हुआ था। इससे पहले ही संकेत मिल गए थे कि बाजार में भारी गिरावट हो सकती है।
एशियाई बाजारों में भी गिरावट
वहीं एशियाई बाजारों में भी भारी गिरावट दर्ज की गई। वॉल स्ट्रीट में 2020 के बाद की सबसे बड़ी गिरावट के बाद एशियाई बाजारों में भी बिकवाली हावी रही। जापान का निक्केई 225 इंडेक्स 2,127.91 अंक (6.30%) नीचे रहा। साउथ कोरिया का कोस्पी 117.85 अंक (4.78%) गिरा। हांगकांग का हैंगसेंग 2,425.61 अंक और चीन का शंघाई कंपोजिट 211.84 अंक गिरकर ट्रेड कर रहा था।
सेक्टर आधारित प्रदर्शन कैसा रहा?
सभी प्रमुख निफ्टी सेक्टोरल इंडेक्स गिरावट में रहे। निफ्टी IT में 6.57% की गिरावट आई, वहीं निफ्टी मेटल 7.70% लुढ़का। इसके अलावा निफ्टी ऑटो में 5.86% और निफ्टी फार्मा में 4.78% की गिरावट देखने को मिली।
निष्कर्ष:
बाजारों में फिलहाल भारी अनिश्चितता का माहौल है, और विशेषज्ञों के मुताबिक यह स्थिति कुछ समय तक बनी रह सकती है। निवेशकों को सतर्क रहकर कदम उठाने की सलाह दी जा रही है।