छह दिसंबर से पहले मंदिर निर्माण के लिए अध्यादेश न लाने पर आत्मदाह करने की धमकी देने वाले संत परमहंस की जमानत अर्जी सीजेएम कोर्ट ने गुरुवार को मंजूर कर ली। राम मंदिर के लिए आत्मदाह की धमकी के बाद पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर भेजा था। 14 दिन की न्यायिक हिरासत पूरी होने के बाद उन्हें सुल्तानपुर जेल भेजा गया था।
पिछली सुनवाई पर सुल्तानपुर कारागार से पेशी पर आए स्वामी परमहंस ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा था कि भाजपा के शीर्ष नेताओं के इशारे पर मेरी गिरफ्तारी हुई है। मेरे साथ हुए कृत्य का परिणाम पांच राज्यों में भाजपा की हार के रूप में सामने आया है।
उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव की आचार संहिता लागू होने के पहले मंदिर निर्माण नहीं शुरू हुआ तो 2019 में भाजपा मुक्त भारत होगा। मुझे जेल भेज कर बीजेपी ने अपने पैर पर कुल्हाड़ी मारी है। प्रदेश और केंद्र में भाजपा की सरकार रहते संत धर्माचार्य जेल में हैं।