दिल्ली के पंजाबी बाग स्थित महाराज अग्रसेन अस्पताल में रविवार सुबह महिला डॉक्टर आस्था मुंजाल अपने कमरे में संदिग्ध हालात में मृत मिलीं। मुंजाल पंचशील पार्क में रहती थीं और अस्पताल के न्यूरो विभाग में कार्यरत थीं।
पुलिस ने बताया कि आस्था मुंजाल की शादी करीब डेढ़ साल पहले जीटीबी अस्पताल में कार्यरत डॉ. उदित धींगरा के साथ हुई थी। शनिवार को उनकी नाइट शिफ्ट थी। रात 12.15 बजे मरीज देखने के बाद वह अपने कमरे में गईं थीं। सुबह साढ़े चार बजे मरीज आने पर जब उनका दरवाजा खटखटाया गया तो कोई जवाब नहीं मिला। इसके बाद उनके कमरे का दरवाजा तोड़ा गया, जहां वह मृत पाई गईं।
पुलिस ने बताया कि मौके से एक सीरिंज और दवा की खाली बोतल मिली है। आस्था मुंजाल के हाथ पर सीरिंज लगाने के निशान भी हैं। सभी साक्ष्यों को फॉरेंसिक जांच के लिए भेज दिया गया है। सभी तथ्यों की जांच की जा रही है। परिजनों ने जांच की मांग की है।
बहन से डॉक्टर ने कहा था, शाम को घर आऊंगी
महाराज अग्रसेन अस्पताल में संदिग्ध हालात में मृत पाई गईं डॉक्टर आस्था ने मौत से पहले अपनी चचेरी बहन से वीडियो कॉल पर बात की थी। परिजनों की मानें तो दोनों के बीच शनिवार रात 12.25 बजे वीडियो कॉलिंग के जरिये बात हुई। इस दौरान डॉ. आस्था ने चचेरी बहन को रविवार शाम मायके आने की बात कही थी और उसे भी वहां बुलाया था। डॉ. आस्था बहन के साथ वहां पार्टी करने की बात कर रही थीं। ऐसे में परिजनों ने आरोप लगाया है कि जब वह कुछ घंटे पहले पार्टी करने की बात कर रही थीं तो वह खुदकुशी कैसे कर सकती हैं। परिजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर सच छिपाने का आरोप लगाते हुए पूरे मामले की निष्पक्ष जांच कराने की मांग की है।
पति से भी बात की थी : आस्था के परिजनों ने बताया कि आस्था ने मौत से पहले अपने पति डॉ. उदित से भी बात की थी। आस्था ने डॉ. उदित को फोन कर बताया था कि उसकी शनिवार को आखिरी नाइट शिफ्ट है और रविवार रात को वह उसके साथ मायके में डिनर के लिए चलेगी। डॉ. उदित ने भी इस पर हामी भर दी थी, जिसके बाद आस्था ने चचेरी बहन को फोन किया।
परिजनों ने संदिग्ध हालात में मौत पर सवाल उठाए
डॉ. आस्था के पास से प्रोपोफोल नाम की दवाई की खाली बोतल मिली है, जिससे अंदाजा लगाया जा रहा है कि उसकी ओवरडोज से डॉ. आस्था की मौत हुई है। इस दवाई को लेने के मात्र 15 सेकेंड बाद ही व्यक्ति बेसुध हो जाता है। डॉ. आस्था के पास से खाली सीरिंज बरामद हुई है, जिससे उन्हें इस दवा का इंजेक्शन लगाया गया। परिजनों का दावा है, दवा से भरी सीरिंज को कोई खुद पर इस्तेमाल नहीं कर सकता। आस्था के भाई अनंत ने इस बाबत पंजाबी बाग थाना पुलिस को शिकायत दी है।