15 साल की किशोरी यशोधरा विलाप करते हुए बार-बार पुकार रही थी कि मुझे भी मेरी मां के साथ जाना है। मौसी, ताऊ बार-बार उसे संभाल रही थे। सोनाली फोगाट के पार्थिव शरीर को श्मशान घाट ले जाने लगे तो अर्थी को कंधा दिया और रोते हुए बोली पापा के बाद तुमने संभाला, मां मुझे छोड़कर क्यों चली गई, शव फार्म हाउस पर लाया गया तो यह देख बेटी बेहोश हो गई। होश आने पर उसकी आंखों से आंसू नहीं थम रहे थे।