मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने नशा मुक्ति दिवस के मौके पर शराबबंदी के समर्थन में बेहतर कार्य करने वाले को पुरस्कृत भी किया। शराबबंदी कानून में ढील देने की बात करने वालों पर भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जमकर बरसे। उन्होंने कहा कि ऐसी बयानबाजी ठीक नहीं है।
2017 में हमने आज के दिन 26 नवंबर को नशा मुक्ति दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया। हम तो शुरू से कह रहे, कोई भी काम करियेगा,100 फीसदी लोग उसे स्वीकार नहीं कर सकते। चंद लोग गड़बड़ी करेंगे ही। गड़बड़ी करने वाले लोग धीरे-धीरे खत्म होंगे।
उन्होंने कहा कि हमने 9 बार शराबबंदी की समीक्षा की है। इस बार तो जहरीली शराब से और भी ज्यादा मौत हुई है। 2018 में भी जहरीली शराब से मौत हुई थी। तब हमने कई आदेश दिया था और कार्रवाई भी की थी। शराब पीने की वजह से सड़क दुर्घटना होती है। हम विद्यार्थी जीवन से ही यह बात सुनते आये हैं। डब्लूएचओ की रिपोर्ट में भी कहा गया है कि 27 प्रतिशत सड़क दुर्घटना शराब पीकर गाड़ी चलाने से होती है। शराब पीने से शऱीर में कई गंभीर बीमारी होती है। कोई लागू करे या न करे लेकिन हमने शराबबंदी कानून को लागू कर दिया है।