चौंकाने वाले हैं आंकड़ें: मानसून से ज्यादा सामान्य दिनों की आपदा में हुईं मौतें

उत्तराखंड में इस साल मानसून के मुकाबले सामान्य दिनों में आपदा की मार ज्यादा पड़ी है। मानसून अवधि से पहले ही आपदा की घटनाओं में 102 लोगों की मौत हुई। जबकि मानसून बीतने के बाद अभी तक 46 लोग अपनी जान गंवा चुके हैं।

मानसून में अन्य सालों की तुलना में कम मौतें

राज्य में इस साल मानसून अवधि के दौरान अन्य सालों की तुलना में कम मौतें हुई हैं। 2020 में मानसून सीजन के दौरान अलग अलग घटनाओं में राज्य में कुल 77 लोगों ने अपनी जान गंवाई थी। 2019 में मानसून के दौरान कुल 99 लोगों ने जान गंवाई जबकि 2018 में मानसून के दौरान मरने वालों का आंकड़ा 63 रहा। 2021 में मानसून के दौरान घटी घटनाओं के दौरान मरने वालों का आंकड़ा तो कम रहा लेकिन उसके आगे पीछे मरने वालों की संख्या काफी अधिक रही है।

उत्तराखंड में आपदा से निपटने को मजबूत आपदा प्रबंधन तंत्र हो

मौसम वैज्ञानिक आनंद शर्मा के अनुसार मौसम में बदलाव एक सामान्य प्रक्रिया है और बारिश का कम ज्यादा होना मौसम में होने वाले किसी बड़े बदलाव का संकेत नहीं है। उत्तराखंड में बारिश की वजह से होने वाली आपदा में मरने वालों के आंकड़ों में कमी नहीं आ पा रही है। इसके लिए राज्य में एक मजबूत आपदा प्रबंधन तंत्र हो।

चार धाम यात्रा ने पकड़ी तेजी

मंदिर में तीर्थयात्रियों ने दर्शन किए। श्री यमुनोत्री धाम में यात्रा मंगलवार से ही शुरू हो गई है। अभी तक ढाई हजार से अधिक तीर्थयात्री पहुंच चुके हैं। श्री बदरीनाथ धाम राष्ट्रीय राजमार्ग अवरूद्ध होने के कारण आज यात्रा बीच बीच में प्रभावित रही। तीर्थ यात्रियों को जोशीमठ, पीपलकोटी आदि जगहों पर रोकना पड़ा। राष्ट्रीय राजमार्ग मंगलवार से टंगड़ी, बेनाकुली, लामबगड़ आदि स्थानों में मलबा आने से अवरूद्ध है।