चंडीगढ़। हरियाणा विधानसभा के एक दिवसीय शीतकालीन सत्र के लिए राजनीतिक दलों ने कमर कस ली है। शुक्रवार को शीतकालीन सत्र सबसे छोटा और बेहद हंगामेदार होगा। अभी तक कम से कम दो दिन के शीतकालीन सत्र होते आए हैं। राज्य का प्रमुख विपक्षी दल इनेलो सत्र का बहिष्कार कर सकता है। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा सत्र में भागीदारी करने के लिए चंडीगढ़ पहुंच गए हैं।
शीतकालीन सत्र के लिए चंडीगढ़ पहुंचे हुड्डा, कांग्रेस विधायक दल की बैठक आज
कांग्रेस विधायक करण सिंह दलाल चूंकि मानसून सत्र में सदन की कार्यवाही से एक साल के लिए निलंबित कर दिए गए थे, इसलिए वह शीतकालीन सत्र में शामिल नहीं हो सकते, लेकिन वे शुक्रवार को विधानसभा के बाहर धरना देकर आक्रोश जाहिर करेंगे। कांग्रेस और इनेलो ने सत्र की रणनीति बनाने के लिए अपनी-अपनी पार्टी के विधायक दलों की बैठक बुला ली है।
हरियाणा विधानसभा में विपक्ष के नेता अभय सिंह चौटाला वीरवार को चंडीगढ़ में इनेलो विधायक दल की बैठक लेंगे। इसमें सांसद दुष्यंत चौटाला समर्थक तीन विधायक नैना चौटाला, अनूप धानक और राजदीप फौगाट के भाग लेने की संभावना नहीं है। भाजपा के प्रति वफादार हो रहे फरीदाबाद एनआइटी के विधायक नगेंद्र भड़ाना के भी बैठक में भाग लेने की संभावना नहीं है। बैठक में अभय यह तय करेंगे कि एक दिवसीय सत्र में भागीदारी करें या नहीं। इसकी वजह यह है कि शीतकालीन सत्र में न तो प्रश्नकाल होगा और न ही शून्यकाल। विधायकों को अपनी बात कहने का मौका नहीं मिल सकेगा।
शुक्रवार को शीतकालीन सत्र सुबह 11 बजे से शुरू होगा। उससे पहले हरियाणा विधानसभा की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक होगी। इसमें सत्र की अवधि पर अंतिम मुहर लगेगी। विपक्ष के नेता अभय चौटाला के इस बैठक में भी भाग लेने की संभावना नहीं है, जबकि कांग्रेस विधायक दल की नेता किरण चौधरी बैठक में सत्र की अवधि बढ़ाने का दबाव कमेटी पर बना सकती हैं। अगले दिन शनिवार और रविवार के अवकाश हैं। यदि विपक्ष का दबाव अधिक बढ़ा तो सत्र की अवधि 31 दिसंबर तक बढ़ाई जा सकती है।