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प्रधानमंत्री मोदी आज करेंगे नीति आयोग की बैठक की अध्यक्षता, कई राज्यों के मुख्यमंत्री होंगे शामिल

नई दिल्ली – प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज राजधानी दिल्ली स्थित भारत मंडपम में नीति आयोग की शासी परिषद की महत्वपूर्ण बैठक की अध्यक्षता करेंगे। यह बैठक देश के सभी राज्यों के मुख्यमंत्रियों और केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपालों के साथ प्रधानमंत्री की पहली बड़ी बातचीत होगी, जो हाल ही में भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा सफलतापूर्वक ऑपरेशन सिंदूर के बाद हो रही है। इस अभियान के तहत पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में नौ आतंकी ठिकानों को ध्वस्त किया गया था, जो पहलगाम आतंकी हमले का जवाब था।

नीति आयोग द्वारा जारी बयान में कहा गया है कि यह बैठक प्रधानमंत्री के ‘टीम इंडिया’ के रूप में सभी राज्यों के साथ मिलकर विकसित भारत के लक्ष्य को प्राप्त करने की प्रतिबद्धता को दर्शाती है।

विकसित राज्य से विकसित भारत@2047 थीम पर आधारित बैठक

बैठक का मुख्य विषय ‘विकसित राज्य से विकसित भारत@2047’ रखा गया है, जिसका उद्देश्य सहकारी संघवाद को प्रोत्साहित करना और राज्य स्तर की आकांक्षाओं को राष्ट्रीय दृष्टिकोण से जोड़ना है। चर्चा का केंद्र बिंदु होगा कि किस प्रकार राज्य अपनी स्थानीय विशेषताओं के अनुसार दीर्घकालिक और समावेशी विजन डॉक्युमेंट तैयार करें, जो राष्ट्रीय प्राथमिकताओं से भी मेल खाएं।

राज्यों को मानव विकास, आर्थिक वृद्धि, सतत विकास, तकनीक और शासन सुधारों पर ध्यान केंद्रित करने की अपेक्षा की जा रही है। इसके लिए डाटा आधारित रणनीतियाँ अपनाने, परियोजना निगरानी इकाइयों, ICT आधारित इन्फ्रास्ट्रक्चर और मूल्यांकन तंत्र जैसी संस्थागत व्यवस्थाएं सुदृढ़ की जाएंगी।

मुख्य विषयों में स्वरोजगार, स्किलिंग और हरित अर्थव्यवस्था शामिल

बैठक में उद्यमिता को बढ़ावा देने, स्किलिंग को प्रोत्साहन देने और सतत रोजगार सृजन जैसे विषयों पर भी चर्चा की जाएगी। साथ ही, दिसंबर 2024 में आयोजित मुख्य सचिवों के चौथे राष्ट्रीय सम्मेलन की सिफारिशों पर आम सहमति बनाने का प्रयास किया जाएगा।

इस सम्मेलन में केंद्र और राज्य सरकारों के वरिष्ठ सचिवों ने भाग लिया था और “जनसांख्यिकीय लाभांश का उपयोग करते हुए उद्यमिता, रोजगार और कौशल विकास को बढ़ावा” विषय पर विचार प्रस्तुत किए थे।

सम्मेलन से निकले 6 प्रमुख विषय निम्नलिखित हैं:

  1. द्वितीय व तृतीय श्रेणी के शहरों में विनिर्माण के लिए अनुकूल वातावरण तैयार करना
  2. इन्हीं शहरों में सेवाक्षेत्र को प्रोत्साहित करना
  3. ग्रामीण गैर-कृषि क्षेत्रों में एमएसएमई और असंगठित रोजगार
  4. शहरी क्षेत्रों में एमएसएमई और असंगठित रोजगार
  5. नवीकरणीय ऊर्जा के माध्यम से हरित अर्थव्यवस्था में अवसर
  6. परिपत्र अर्थव्यवस्था पहलों के माध्यम से हरित अवसर

आर्थिक चुनौतियों और बजट 2025-26 की झलक

एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी के अनुसार, बैठक में आगामी बजट 2025-26 के कुछ प्रस्तावों और वर्तमान आर्थिक चुनौतियों पर भी चर्चा की जा सकती है। अमेरिका से मिल रहे जवाबी शुल्क और वैश्विक मंदी के बावजूद भारतीय अर्थव्यवस्था के इस वित्तीय वर्ष में 6.2% से 6.7% की दर से बढ़ने की संभावना जताई जा रही है।

हालांकि, अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) और विश्व बैंक ने वैश्विक अनिश्चितताओं और व्यापार तनावों का हवाला देते हुए 2025-26 के लिए भारत की वृद्धि दर को क्रमशः 6.2% और 6.3% तक घटा दिया है।

नीति आयोग की बड़ी भूमिका

नीति आयोग की शासी परिषद, जो इसके निर्णय लेने वाली सर्वोच्च संस्था है, में सभी मुख्यमंत्री, केंद्र शासित प्रदेशों के उपराज्यपाल और कई केंद्रीय मंत्री शामिल होते हैं। प्रधानमंत्री मोदी इसके गठन से ही इस परिषद की अध्यक्षता करते आ रहे हैं।

पिछले वर्ष 27 जुलाई को हुई बैठक में 10 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश शामिल नहीं हुए थे। नीति आयोग 2047 तक भारत को $30 ट्रिलियन की अर्थव्यवस्था बनाने की दिशा में एक समेकित विजन डॉक्युमेंट तैयार कर रहा है, जो आर्थिक विकास, सामाजिक प्रगति, सततता और शासन को अपने चार स्तंभ बनाएगा।

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