Site icon Overlook

अली, बाहुबली और बजरंगबली जैसे नारों के बीच दिलचस्प होती जा रही है लोनी की लड़ाई

देश की राजधानी से सटे लोनी में इन दिनों भाजपाइयों की तरफ से उछाले गए एक नारे के तीन शब्द फिजा में गूंज रहे हैं- अली, बाहुबली और बजरंगबली। इसकी काट में रालोद की तरफ से दो नारे हैं, आएंगे जयंत-जाएंगे महंत और किसान-मजदूर ने ठाना है, भाजपा को हराना है। नारों से चुनावी मंशा साफ है। भाजपा पिछले चुनाव की तरह धर्म के आधार पर ध्रुवीकरण की कोशिश में है, तो वोटों की फसल काटने के लिए रालोद का प्रयास किसान आंदोलन की तपिश को बनाए रखना है। मुकाबला भाजपा और रालोद गठबंधन के बीच ही नजर आ रहा है. परिसीमन में खेकड़ा सीट के खत्म होने से 2012 में अस्तित्व में आई लोनी विधानसभा सीट से भाजपा ने 2017 में जीते विधायक नंद किशोर गुर्जर को मैदान में उतारा है, तो चार बार जीते और तीन बार हारे मदन भैया रालोद के टिकट पर ताल ठोक रहे हैं। बसपा से हाजी आकिल, कांग्रेस से यामीन मलिक और आम आदमी पार्टी से सचिन शर्मा मैदान में हैं। सपा-रालोद के जिन उम्मीदवारों को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ बाहुबली बता रहे हैं. लोगों की जुबां पर यही सवाल है कि मदन भैया का बेड़ा पार होगा या नहीं। मंडौला गांव में चौपाल जमाकर बैठे किसान महेंद्र, टेकचंद, बॉबी त्यागी, शिव कुमार, ब्रह्म त्यागी, आरडी त्यागी एक सुर में कहते हैं कि किसान आंदोलन खत्म नहीं हुआ है। हम मदन भैया का साथ देंगे।  दुकान के बाहर अलाव ताप रहे हरवीर, राजकुमार, राम किशन कहते हैं 

Exit mobile version