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डाटा एंट्री ऑपरेटर आवेदन जमा करने की अंतिम तिथि कल, जानिए क्यों ग्राम प्रधान कैंसिल कराना चाहते हैं पंचायत सहायक भर्ती

यूपी में पंचायत सहायक/लेखा सह डाटा एंट्री ऑपरेटरों की भर्ती के लिए आवेदन करनी की कल (17 अगस्त) अंतिम तिथि है।  इसके बाद आवेदन पत्रों की जांच होगी और हाईस्कूल व इंटर की परीक्षा में मिले नंबर के आधार पर मेरिट तैयार होगी। वहीं दूसरी ओर इस भर्ती को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट में एक याचिका भी दायर है, इस पर न्यायमूर्ति एमसी त्रिपाठी ने एक सप्ताह में राज्य सरकार से जवाब मांगा है। वहीं दूसरी ओर कई जिलों में ग्राम प्रधान इस भर्ती  को कैंसिल करने के लिए मुख्यमंत्री को ज्ञापन भी भेज चुके हैं।

जानिए ग्राम प्रधान क्यों कर रहे हैं विरोध:

लखीमपुुुर जिले में ग्राम प्रधानों ने पंचायत सहायक भर्ती रद्द करने या उनके मानदेय के लिए अलग से व्यवस्था किए जाने की मांग को लेकर ब्लॉक परिसर में धरना तक दिया है। ग्राम प्रधानों का कहना है कि ग्राम पंचायतों में होने वाली पंचायत सहायक की भर्ती रद्द की जाए या उन्हें मानदेय देने के लिए कोई अलग फंड बनाया जाए। ग्राम विकास निधि से उनका भुगतान न कराया जाए। प्रधानों का कहना है कि वैसे भी जो निधि ग्राम विकास के लिए आती है वह पर्याप्त नहीं होती। अगर पंचायत सहायक की नियुक्ति की जाती है तो ग्राम निधि से मानदेय न दिलाया जाए या उनकी नियुक्ति रद्द की जाए।

जानिए क्यों दायर की गई याचिका:

जौनपुर के देवी प्रसाद शुक्ल की इलाहाबाद हाईकोर्ट में दयार याचिका में कहा है कि छह हजार रुपये प्रतिमाह मानदेय पर पिछले 15 साल से समान पद पर कार्यरत 37 हजार ग्राम रोजगार सेवकों को समायोजित किया जाए या पंचायत सहायक भर्ती में आयुसीमा में छूट के साथ कार्य अनुभव को वरीयता देकर चयनित कर नियुक्ति की जाए। याचिका में कहा गया है कि समान पद पर याचियों का कार्य संतोषजनक है । शासनादेश में अनुभव को वरीयता देने की व्यवस्था नहीं की गई है। ऐसा करना मनमानापूर्ण और शक्ति का दुरुपयोग है। इस भर्ती से याचियों की सेवा की अनिश्चितता बनी रहेगी। नई भर्ती से भाई-भतीजावाद और भ्रष्टाचार का रास्ता बनेगा। अनुभवी बाहर कर दिए जाएंगे इसलिए न्यायालय याचियों के हितों की रक्षा के लिए इसमें हस्तक्षेप करे।

आरक्षण पर नजर रखेंगे नोडल अधिकारी:

पंचायत सहायकों की भर्ती प्रक्रिया को पारदर्शी और निष्पक्ष बनाने के लिए प्रशासन ने न्याय पंचायत स्तर पर नोडल अधिकारियों की तैनाती भी कर दी है। ये अधिकारी आवेदन की निगरानी करेंगे। वहीं, अपनी तैनाती की न्याय पंचायत से आने वाले आवेदन का पूरा लेखाजोखा भी रखेंगे। आवेदकों को यदि आवेदन करने में कोई दिक्कत आ रही है तो उसे भी दूर करेंगे। ब्लॉक स्तर के सभी एडीओ व अन्य ब्लॉक स्तरीय अधिकारियों को नोडल बनाया गया है। यह अधिकारी इस बात पर भी नजर रखेंगे कि पंचायत एससी, ओबीसी या महिला के लिए आरक्षित है तो उस पर उसी आरक्षित श्रेणी का आवेदन आए। साथ ही गांव में कोरोना से मृतक व्यक्ति के परिवार से पत्नी, पुत्र आदि अगर आरक्षण श्रेणी को पूरा करते हैं और 12वीं पास हैं तो उनके आवेदन पर भी नजर रखेंगे।